Mahakumbh 2025 : प्रयागराज में 45 दिनों तक विश्व का सबसे बड़ा धार्मिक एवं आध्यात्मिक समागम-महाकुंभ बुधवार को अंतिम स्नान पर्व महाशिवरात्रि के साथ संपन्न हो गया। तेरह जनवरी से प्रारंभ हुए इस मेले में देश विदेश से 66.30 करोड़ श्रद्धालुओं ने गंगा और संगम में डुबकी लगाई। मेला प्रशासन द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, बुधवार को शाम आठ बजे तक 1.53 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने गंगा और संगम में डुबकी लगाई तथा 13 जनवरी से बुधवार शाम आठ बजे तक स्नान करने वालों की संख्या 66.30 करोड़ पहुंच गई। श्रद्धालुओं की यह संख्या चीन और भारत को छोड़कर अमेरिका, रूस और यूरोपीय देशों समेत सभी देशों की आबादी से अधिक है। साथ ही यह मक्का और वेटिकन सिटी जाने वाले श्रद्धालुओं से भी अधिक है।
आज प्रयागराज का दौरा करेंगे CM योगी
सीएम योगी गुरुवार को प्रयागराज का दौरा करेंगे और कई कार्यक्रमों में शाामिल होंगे। सीएम योगी लखनऊ से सुबह 11.30 बजे प्रयागराज पहुंचेंगे और शाम 7 बजे प्रयागराज से रवाना होंगे। CM योगी महाकुंभ का औपचारिक समापन करेंगे और सबको धन्यवाद करेंगे। महाकुंभ में सफाई कर्मियों, स्वास्थ्य कर्मियों का सम्मान किया जाएगा और स्वच्छ कुंभ कोष, आयुष्मान योजना प्रमाणपत्र वितरित किए जाएंगे।
सीएम योगी आज महाकुंभ के सफल आयोजन के लिए ड्यूटी पर लगे कर्मचारियों-अधिकारियों का धन्यवाद करेंगे। सीएम योगी महाकुंभ के समापन का औपचारिक एलान के साथ ही कुंभ कोष और आयुष्मान योजना प्रमाणपत्र का वितरण भी करेंगे। इससे पहले वह गंगा पूजन करेंगे। सीएम योगी नाविकों, पुलिस के जवानों, पुलिसकर्मियों और मीडियाकर्मियों के साथ भी संवाद करेंगे।
सीएम योगी के कार्यक्रम की लिस्ट
- सीएम योगी लखनऊ से सुबह 11.30 बजे प्रयागराज पहुंचेंगे और शाम 7 बजे प्रयागराज से रवाना होंगे।
- प्रयागराज में सीएम योगी, नाविकों, UPSRTS चालकों से संवाद करेंगे।
- हनुमान मंदिर में दर्शन पूजन करेंगे।
- डिजिटल मीडिया सेंटर में मीडियाकर्मियों से संवाद कार्यक्रम करेंगे।
- महाकुंभ में तैनात पुलिसकर्मियों से संवाद कार्यक्रम करेंगे।
- प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों से संवाद करेंगे।
15000 सफाईकर्मियों ने दिया योगदान
महाकुंभ अपनी स्वच्छता को लेकर भी चर्चा में रहा जिसमें स्वच्छता कर्मियों की अहम भूमिका रही। महाकुंभ मेले में स्वच्छता प्रभारी डाक्टर आनंद सिंह ने बताया कि पूरे मेले में 15,000 स्वच्छता कर्मी चौबीसों घंटे ड्यूटी पर तैनात रहे। कई पालियों में उन्होंने साफ सफाई की जिम्मेदारी बखूबी निभाई और मेले में शौचालयों और घाटों को पूरी तरह से साफ रखा। सभी ने उनके कार्यों की सराहना की। महाकुंभ मेले में मौनी अमावस्या पर हुई भगदड़ की घटना से इसकी छवि थोड़ी धूमिल हुई, लेकिन श्रद्धालुओं की आस्था पर इस घटना का कोई खास असर नहीं पड़ा और लोगों का आगमन अनवरत जारी रहा। भगदड़ में 30 लोगों की मृत्यु हो गई थी।
बड़ी हस्तियों ने लगाई डुबकी
महाकुंभ मेले में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से लेकर कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों, फिल्मी सितारों और खेल जगत, उद्योग जगत की हस्तियों तक ने संगम में डुबकी लगाई और प्रदेश सरकार द्वारा की गई व्यवस्थाओं की सराहना की। इस महाकुंभ में नदियों के संगम के साथ ही प्राचीनता और आधुनिकता का भी संगम देखने को मिला जिसमें एआई से युक्त कैमरों, एंटी ड्रोन जैसी कई अत्याधुनिक प्रणालियों का उपयोग किया गया और मेला पुलिस को इन प्रणालियों का प्रशिक्षण दिया गया। हालांकि, यह मेला कई विवादों को लेकर भी चर्चा में रहा। जैसे, फिल्म अभिनेत्री ममता कुलकर्णी का महामंडलेश्वर बनना और उनको लेकर विवाद खड़ा होना। इसके अलावा, गंगा जल की शुद्धता को लेकर राष्ट्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (एनपीसीबी) की रिपोर्ट और फिर उस पर सरकार के हवाले से कई वैज्ञानिकों द्वारा गंगा जल की शुद्धता की पुष्टि करना भी चर्चा में रहा।
यूपी में बनाया गया 76वां जिला
हिंदुओं की मान्यता है कि ग्रह नक्षत्रों के विशेष संयोग से कुंभ और महाकुंभ में गंगा और संगम में स्नान करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है। परमार्थ निकेतन आश्रम, ऋषिकेश के प्रमुख चिदानंद सरस्वती के अनुसार गुरुवार को ब्रह्म मुहूर्त शुरू होने के साथ मेला समाप्त हुआ। इस मेले के लिए एक नया जिला-महाकुंभ नगर अधिसूचित किया गया और मेला संचालन के लिए जिला मजिस्ट्रेट और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक समेत पुलिस और प्रशासन की नियुक्ति की गई। यह प्रदेश का 76वां अस्थायी जिला है। महाकुंभ मेले में सभी 13 अखाड़ों ने तीन प्रमुख पर्वों- मकर संक्रांति, मौनी अमावस्या और बसंत पंचमी पर अमृत स्नान किया। हालांकि, मौनी अमावस्या पर भगदड़ की घटना के बाद अखाड़ों का अमृत स्नान अधर में लटक गया था, लेकिन अंततः अखाड़ों के साधु संतों ने अमृत स्नान किया और बसंत पंचमी स्नान के साथ वे मेला से विदा हो गए।
विपक्ष के आरोप
मौनी अमावस्या को हुए हादसे को लेकर नेताओं ने सरकार पर निशाना साधना शुरू किया जिसमें पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने महाकुंभ को ‘मृत्युकुंभ’ करार दिया। हालांकि, सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने इसका तगड़ा जवाब दिया। वहीं, समाजवादी पार्टी (सपा) और कांग्रेस ने प्रदेश सरकार पर भगदड़ में मृतकों की संख्या छिपाने का आरोप लगाया। सपा समेत विपक्षी दलों ने श्रद्धालुओं की संख्या पर भी सवाल खड़ा किया, लेकिन सरकार ने 1,800 एआई कैमरों समेत 3,000 से अधिक कैमरों, ड्रोन और 60,000 कर्मचारियों के हवाले से श्रद्धालुओं की सही संख्या बताने की बात कही। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, ‘‘श्रद्धालुओं की संख्या का मिलान करने के लिए एआई कैमरों के साथ ही हम रोडवेज, रेलवे और हवाईअड्डे के अधिकारियों के साथ निरंतर संपर्क में रहे।’’
विदेशी हस्तियां भी हुईं शामिल
महाकुंभ मेले में अग्निशमन विभाग ने आग की घटनाओं को रोकने में अहम भूमिका निभाई और आग लगने की सूचना मिलते ही तत्काल कार्रवाई किए जाने से जनहानि की एक भी सूचना नहीं आई। इसके अलावा, श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए 37,000 पुलिसकर्मी, 14,000 होमगार्ड के जवान तैनात रहे। इसके अलावा, तीन जल पुलिस थाने, 18 जल पुलिस कंट्रोल रूम और 50 ‘वाच टावर’ स्थापित किए गए थे। महाकुंभ में आने वाले अति विशिष्ट लोगों में भूटान नरेश जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक, उद्योगपति मुकेश अंबानी और गौतम अडाणी, एप्पल के संस्थापक स्टीव जॉब्स की पत्नी लॉरेन पॉवेल, ब्रिटेन के रॉक बैंड कोल्डप्ले के क्रिस मार्टिन प्रमुख रूप से शामिल थे।
45 दिन में 10 बार महाकुंभ पहुंचे योगी
सोशल मीडिया के चर्चित चेहरों में हर्षा रिछारिया, माला बेचने वाली युवती मोनालिसा भोसले और ‘आईआईटी बाबा’ के नाम से प्रसिद्ध अभय सिंह ने भी इस मेले में सुर्खियां बटोरी। महाकुंभ के आयोजन को लेकर प्रदेश सरकार शुरू से ही गंभीर रही और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 45 दिनों में 10 बार महाकुंभ नगर आकर व्यवस्थाओं का जायजा लिया। इसके अलावा, उन्होंने लखनऊ और गोरखपुर में नियंत्रण कक्ष से मेले पर पैनी नजर रखी। मुख्यमंत्री महाकुंभ के औपचारिक समापन की घोषणा करने बृहस्पतिवार को यहां आने वाले हैं।