uniform civil code : समान नागरिक संहिता का मतलब है कि सभी नागरिकों के लिए एक ही कानून लागू होगा, चाहे उनका धर्म, जाति या लिंग कुछ भी हो. यूसीसी लागू होने से बहुत सारी चीज बदल जाएगी.
उत्तराखंड में सोमवार से समान नागरिक संहिता (UCC) लागू होगी. इसके साथ ही उत्तराखंड यूसीसी लागू करने वाला देश का पहला राज्य बन जाएगा. यूसीसी लागू होने के साथ ही शादी, तलाक और विरासत कानून संबंधी कई नियम बदल जाएंगे. किसी भी जाति और धर्म में शादी और तलाक का एक कानून होगा. आइये जानते हैं कि यूसीसी लागू होने से क्या बदलाव होंगे.
- शादी का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य
शादी का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य होगा. इसके लिए ग्राम सभा स्तर पर भी शादी के रजिस्ट्रेशन की सुविधा दी जा रही है. शादी का पंजीकरण 6 महीने के अंदर कराना होगा. - लिव इन रिलेशन का भी पंजीकरण
उत्तराखंड में अब लिव इन रिलेशन का पंजीकरण कराने वाले जोड़ों को रजिस्ट्रेशन कराना होगा. अगर लिव इन रिलेशन से किसी बच्चे का जन्म होता है तो उसे शादी के बाद जन्मे बच्चे की तरह सभी कानूनी अधिकार मिलेंगे.
और क्या होंगे बड़े बदलाव
और क्या होंगे बड़े बदलाव
3-शादी के लिए योग्य लड़कियों की उम्र एक समान होगी
4-सभी को बच्चे गोद लेने का अधिकार होगा.
5-दूसरे धर्म के बच्चे गोद नहीं लिए जा सकेंगे.
6-उत्तराधिकार में लड़कियों को लड़कों के बराबर हक मिलेगा.
7-इस कानून से अनुसूचित जनजाति को बाहर रखा गया है
8-पूजा और परंपराओं में कोई बदलाव नहीं किया गया है.
9-बहुविवाह और हलाला पर लगेगी रोक
- तलाक के लिए भी सभी जाति और धर्मों में एक जैसे नियम
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी मुख्य सेवक सदन में संहिता की नियमावली और वेब पोर्टल का लोकार्पण करेंगे. धामी ने कहा कि यूसीसी लागू होने से यह सुनिश्चित होगा कि उत्तराखंड में लिंग, जाति, धर्म के आधार पर कोई भेदभाव न हो. बता दें कि गृह मंत्री अमित शाह ने कहा है कि भाजपा शासित सभी राज्यों में यूसीसी लागू होगा.
